Fascination About सोयाबीन के तेल के फायदे



सोयाबीन दलहन की फसल है जिसके बीजों का सेवन किया जाता है। सोयाबीन को प्रोटीन का उत्तम स्रोत माना जाता है। शाकाहारी लोगों के लिए सोयाबीन मांस जितना पोषण प्रदान करता है इसलिए शाकाहारी भोजन करने वाले लोगों के आहार में सोयाबीन शामिल करने की सलाह दी जाती है।

खाना पकाने के लिए परिष्कृत तेलों का उपयोग करना आपके शरीर में 'खराब' अनसैचुरेटेड फैट के स्तर को बढ़ा सकता है, जिससे रक्त में 'खराब' कोलेस्ट्रॉल या एलडीएल (कम घनत्व वाले लिपोप्रोटीन) जमा हो जाता है।

इसके अलावा इन तेलों का उपयोग, आपकी त्वचा को कोलेजन और इलास्टिन के नुकसान से बचाता है। साथ ही आपकी त्वचा को मुलायम रखता है और झुर्रियों, पिग्मेंटेशन तथा फाइन लाइन्स से बचाता है।



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इसके अलावा सोयाबीन महिलाओं को प्रोटीन देने के साथ-साथ मासिक धर्म के समय होने वाले कष्ट जैसे शरीर में सूजन, भारीपन, थकान, कमर का दर्द आदि में राहत दिलाने में भी मदद करता है। 

खेत की ग्रीष्‍मकालीन गहरी जुताई करें। मानसून की वर्षा के पूर्व बोनी नहीं करे। मानसून आगमन के पश्‍चात बोनी शीघ्रता से पूरी करें। खेत नींदा रहित रखें। सोयाबीन के साथ ज्‍वार अथवा मक्‍का की अंतरवर्तीय खेती करें। खेतों को फसल अवशेषों से मुक्‍त रखें तथा मेढ़ों की सफाई रखें। रासायनिक नियंत्रण[संपादित करें]

महिलाएं जब मेनोपॉज के करीब पहुँच जाती हैं, तो उनके शरीर में एस्ट्रोजन का स्तर कम हो जाता है, इसका कारण यह है की उनके शरीर में हार्मोनल चेंजेस होने लगते हैं, शरीर के कार्यों और मूड में भारी बदलाव होता है। सोयाबीन के तेल में मौजूद आइसोफ्लेवोंस एस्ट्रोजन की तरह ही काम करते हैं और शरीर में एस्ट्रोजन रिसेप्टर कोशिकाओं से जुड़ते हैं। यह रजोनिवृत्ति के दौरान कई नकारात्मक लक्षणों को कम करता है जो महिलाओं को उस समय अनुभव होता है जैसे कि मिजाज का बदलना, चमक उठना और भूख से दर्द होना।

सोयाबीन में कैल्शियम, विटामिन्स, मिनरल्स, प्रोटीन्स ,कॉपर जैसे कई सारे पोषक तत्व होते हैं जो हमारी हड्डियों को मजबूत here बनाने में मदद करते है

यह त्वचा को फ्री रेडिकल के नुकसान से बचाता है और ट्रांस एपीडर्मल पानी को कम होने से रोकता है जिससे त्वचा कोमल और नमीयुक्त बनी रहती है। यह कोलेजन के नुकसान को भी रोकता है और त्वचा में लचीलापन बरकरार रखता है।

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सोयाबीन हो या कोई अन्य खाद्य पदार्थ आवश्यकता से अधिक मात्रा में सेवन करने पर आपके लिए नुकसानदायक हो सकता है।

डॉक्टर्स हमेशा ब्लड प्रेशर के मरीजों को सलाह देते हैं कि वे कम से कम तेल का सेवन करें। ऐसे में उन मरीजों के लिए यह तेल बेहतरीन विकल्प है। यह शरीर में उचित रक्त आपूर्ति को दर्शाता है, जिससे शरीर में ऑक्सीजन और आवश्यक पोषक तत्वों का संतुलन बना रहता है। तेल में पोटेशियम की अच्छी मात्रा होती है, जिसकी वजह से ब्लड प्रेशर नियंत्रित रहता है। ब्रेस्ट कैंसर

शरीर की रोग प्रतिरोधक क्षमता यानी इम्यूनिटी अच्छी हो तो शरीर रोगों से बचा रहता है. कैस्टर ऑयल में इम्यूनिटी बढ़ाने वाले गुण पाए जाते हैं.

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